भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र दामोदरदास मोदी, 17 सितंबर, 1950 को मेहसाणा जिले के वडनगर में इनका जन्म हुआ. मोदी अपने माता -पिता और पांच भाई-बहनों के साथ रहते थे. बचपन में ये वडनगर रेलवे स्टेशन पर अपने पिता के साथ चाय बेचने का काम करते थे. स्कूल खत्म होते ही वो रोज़ प्लेटफार्म पर या रेल के डिब्बों में जा कर चाय बेचते थे. नरेंद्र मोदी भारत के 15 वें प्रधानमंत्री हैं. कॉमनमैन से लेकर प्रधानमंत्री बनने तक का उनका सफर बेहद रोमांचक रहा है. देखें उनके जीवन की कुछ तस्वीरें और रोचक बातें :
नई दिल्ली में इंडिया गेट पर ‘शौर्यांजली’ प्रदर्शन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक सैनिक के कट आउट के पीछे खड़े हैं. 1965 के युद्ध की स्वर्ण जयंती के मौके पर इस तस्वीर को लिया गया.
मोदी स्कूल में भी वक्तृत्व कला में पारंगत थे कईबार उन्होंने प्रतियोगिता में जीत हासिल की है. वह अक्सर किसीको बिना बताए महीनों के लिए गायब हो जाते थे. अलग-अलग जगहों पर जा कर रहते थे और हिमालय में भटका करते थे.
आठ साल की उम्र में, मोदी RSS से जुड़ गए और प्रशिक्षण सत्र में भाग लेने लगे. वहां उनकी मुलाकात लक्ष्मणराव इनामदार से हुई, जो काफी लोकप्रिय थे और वकिल साहब के नाम से जाने जाते थे. उन्होंने ही मोदी को RSS में जूनियर कैडेट के रूप में शामिल किया और आगे जाकर उनके राजनीतिक गुरु भी बने. उसके बाद वह दिल्ली के कार्यालय में चले गए, जहां वो रोज़ सुबह 4 बजे उठकर कार्यालय की सफाई करते थे. इसके साथ अपने वरिष्ठ और अन्य कर्मचारयों के लिए चाय -नाश्ता बनाना और ईमेल का जवाब देना ऐसे काम किया करते थे.
जब इंदिरा गांधी ने आपातकालीन नियम घोषित की और राजनीतिक दुश्मनों को जेल में डाल दिया जा रहा था, तब मोदी गुजरात वापस जाकर छुप गए. कई दिनों तक अपनी जगह बदलते रहे और बजाज स्कूटर पर सफर कर के दिल्ली तक केंद्र सरकार के खिलाफ की पुस्तिकाएँ और मुद्रित भेजा करते थे.
1988 में,मोदी जी को पार्टी के गुजरात विभाग का आयोजन सचिव के तौर पर चुना गया था. तभी वो 1990 में लालकृष्ण आडवाणी की अयोध्या रथ यात्रा और 1991-92 में मुरली मनोहर जोशी की एकता यात्रा का आयोजन करके पार्टी के भीतर चमक उठे. तभी उन्होंने राजनीती में अपना पहला कदम रखा और कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा.